Monday 25 December 2017

Kejriwal किराया कम करने को कहते इसलिए मेट्रो ने उद्घाटन मे नही बुलाया !

PM और मेट्रो को डर था कि Kejriwal किराये में की गई वृद्धि को वापस लेने की सार्वजनिक रूप से मांग ना कर दें 
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दिल्ली News Dated 25/12/2017
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नई दिल्ली: मजेंटा लाइन के उद्घाटन में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को न्योता नहीं मिला. इस पर उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि सीएम अरविंद केजरीवाल को इसलिए नहीं बुलाया गया, क्योंकि डर था कि वह किराये में की गई वृद्धि को वापस लेने की सार्वजनिक रूप से मांग कर सकते थे.
'मजेंटा लाइन के उद्घाटन में सीएम केजरीवाल को इसलिए नहीं बुलाया गया क्योंकि...'सिसोदिया ने कहा कि नोएडा में उद्घाटन कार्यक्रम में मुख्यमंत्री को नहीं आमंत्रित करना दिल्ली के लोगों का ‘अपमान’ है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में दिल्ली मेट्रो की 12.38 किमी लंबी मजेंटा लाइन का उद्घाटन किया. इसके कुछ देर बाद सिसोदिया ने यह टिप्पणी की.
Dy. CM सिसोदिया ने ट्वीट किया, ‘दिल्ली के मुख्यमंत्री को दिल्ली मेट्रो के उद्घाटन में नहीं बुलाना दिल्ली की जनता का अपमान है. नहीं बुलाने की केवल एक ही वजह है. इन्हें डर था कि कहीं केजरीवाल प्रधानमंत्री से जनता के लिए मेट्रो किराया कम करने की मांग न कर दें.’ उन्होंने एक अन्य ट्वीट में कहा कि मेट्रो का किराया बढ़ाने वालों को केजरीवाल से डर लगता है.
जब संवाददाताओं ने क्रिसमस के मौके पर आयोजित एक कार्यक्रम में केजरीवाल से इस बारे में सवाल किया तो उन्होंने इसे टाल दिया. उन्होंने कहा कि यह अवसर इस बारे में बातचीत के लिए उपयुक्त नहीं है. बाद में उन्होंने सिसोदिया के ट्वीट को रिट्वीट किया.

अरविंद केजरीवाल को न बुलाने पर आशुतोष ने कहा- PM इतना संकीर्ण नहीं हो सकते!

आशुतोष ने कहा, ‘पीएम पूरे देश का होता है.. वो भेद नहीं कर सकता.. केजरीवाल से छुआछूत क्यों बरतते हैं.. वो चुने हुये मुख्यमंत्री हैं.. मेट्रो में दिल्ली का भी 50 फीसदी पैसा लगा है.. मेट्रो उद्घाटन में क्यों नहीं बुलाया.

आशुतोष इसके बाद एक और ट्वीट कर कि देश के प्रधानमंत्री कहते हैं ‘सबका साथ, सबका विकास’. त्रासदी देखिये वो दिल्ली में रहते हुये दिल्ली के मुख्यमंत्री को साथ लेकर नहीं चल सकते. मिलने पर केजरीवाल के अभिवादन का जवाब तक नहीं देते वो सबका विकास कैसे कर सकता है? सोचियेगा ज़रूर?
‘आप’ नेता तीसरे ट्वीट में लिखा, ‘मेट्रो दिल्ली की.. ३/४ दिल्ली से होकर जायेगी.. दिल्ली का मेट्रो में 50 फीसदी पैसा लगा है.. यूपी में मेट्रो थोड़े हिस्से में दौड़ेगी..पर पीएम, योगी को बुलायेंगे.. यूपी में दिल्ली की मेट्रो का उद्घाटन करेंगे.. केजरीवाल को नहीं बुलायेंगे,, क्यों? भारत देश का PM इतना संकीर्ण नहीं हो सकता’
वहीं मेट्रो के बढ़े किराए पर केंद्र और दिल्ली मेट्रो के साथ तकरार के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के कार्यालय ने कहा है कि मुख्यमंत्री को उद्घाटन समारोह का निमंत्रण प्राप्त नहीं हुआ है.
दिल्ली सरकार के एक प्रवक्ता ने समाचार एजेंसी IANS को बताया, ‘हमें कार्यक्रम की कोई आधिकारिक सूचना नहीं दी गई है. हमारी प्रथम प्राथमिकता यात्रियों के लिए सुरक्षित मेट्रो और किराये की उचित दर है और बात अगर उद्धघाटन की है तो हमें कोई निमंत्रण नहीं मिला है. यह सवाल डीएमआरसी और शहरी विकास मंत्रालय से पूछे जाने चाहिए.’

Thursday 21 December 2017

नरेला में Aam Aadmi Party के कार्यकर्ता पर हुआ जानलेवा हमला

नरेला में Aam Aadmi Party के कार्यकर्ता पर हुआ जानलेवा हमला 
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Delhi News Dated 21/12/17
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नरेला में जमीनी विवाद के चलते आ आदमी पार्टी के कार्यकर्ता ज्ञानप्रकाश पर हुआ जानलेवा हमला , सत्यवादी राजा हरीश चन्द्र हॉस्पिटल के नजदीक की घटना , गम्भीर रूप से घायल ज्ञानप्रकाश को किया हॉस्पिटल में में भर्ती



Pictures from the spot. (Near CNG Pump, Road to GT Road, Narela)

 

Saturday 16 December 2017

कठिन सवालों पर ब्लाक करके भाग जाते है कपिल मिश्रा

मुस्किल सवालों पर जवाब न बनते देख ब्लाक करके भाग जाते है पूर्व मंत्री कपिल मिश्रा
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दिल्ली News Dated 17/12/17
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दिल्ली सरकार में जल मंत्री और CM केजरीवाल के करीबी रह चुके निष्कासित आप विधायक विधायक कपिल मिश्रा वैसे तो सोशल मीडिया पर पिछले कुछ दिनों से काफी सकिर्य है लेकिन वे सिर्फ केजरीवाल के खिलाफ ही पोस्ट करते है |

लेकिन सोशल मीडिया पर ध्यान दें तो पता चलता है कि कपिल मिश्रा अब लोगों के जवाब नही दे पाते और सवाल पूछने वाले को ब्लाक करके भाग जाते है | शायद कपिल मिश्रा जवाब देना ही नही चाहते लेकिन जो भी हो सोशल मीडिया यूजर्स कपिल मिश्रा को अब "पागल" कहने लगे है |



लोगो का कहना है कि कपिल मिश्रा से सवाल पूछो तो वो ब्लाक करके भाग जाते है, लोगों ने बताया कि जब भी कोइ उनसे पूछता है - "कि पैसे कितने बजे लिए थे" तो वो ब्लाक कर जाते है |

    
   

हमे ऐसे ही सैंकड़ो ट्वीट मिले जिनमे लोगों ने साफ़ किया है कि कैसे कपिल मिश्रा उन्हें ब्लॉक करके भाग गये | कुछ के स्क्रीन शॉट यहाँ सलंग्न है :-





















आपको बता दें की कपिल मिश्रा की नजदीकी बीजेपी से बढती जा रही है, कपिल मिश्रा के जन्मदिन पर बीजेपी के ट्विटर हैंडल से उन्हें मुबारकबाद भी दी गयी थी, और कई अन्य मौको पर वे बीजेपी के नेताओ के साथ भी नजर आ चुके है |

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Story - RB News Self Survey Research



राजस्‍थान : CM से कॉलेज मांगने गए छात्रों जमकर की हुई पिटाई, मिली पुलिस की लाठी

राजस्‍थान CM से कॉलेज मांगने गए छात्रों को मिली पुलिस की लाठी, जमकर हुई पिटाई

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Raj. News Dated 16/12/17
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राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की सीकर के फतेहपुर के जनसंवाद कार्यक्रम में हंगामा करने को लेकर पुलिस ने छात्रों को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा. यह सभी छात्र सरकारी कॉलेज की मांग को लेकर मुख्यमंत्री से मिलने की जिद कर रहे थे.
छात्रों पर पुलिस की सख्‍त कार्रवाई
जब पुलिस ने वसुंधरा राजे के पास इन्हें नहीं जाने दिया, तो यह हंगामा करने लगे. उसके बाद पुलिस ने लाठी चार्ज कर इन्हें खदेड़ा. कई युवकों की धुनाई फिर हुई. मुख्यमंत्री से अपनी मांगें मनवाने के लिए पहुचें छात्रों की ऐसी धुनाई की गई कि शायद ही भविष्य में अपनी मांगें लेकर वे राज्य की सबसे बड़ी मुखिया के पास पहुंचने की हिमाकत कर पाएंगे.
दरअसल, वाकया सीकर के फतेहपुर कस्बे का जहां पर मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे शनिवार को जनसंवाद करने पहुंची थी. बिंदल कुलदेवी परिसर में मुख्यमंत्री लोगों की जनसुनवाई करती रही, वहीं दूसरी ओर जब छात्रों ने अपनी सरकारी कॉलेज की मांग को लेकर मंदिर परिसर के बाहर प्रदर्शन करना शुरू किया तो अधिकारियों, पुलिसकर्मियों को उनका प्रदर्शन ऐसा नागवार गुजरा कि उनकी जमकर ठुकाई कर डाली.
पुलिसकर्मियों ने दौड़ते हुए छात्रों पर पुलिस ने जमकर लाठियां भांजी. इसके बाद पुलिस ने करीब आधा दर्जन छात्रों को हिरासत में लिया है. जब पुलिस ने उन्हें खदेड़ना शुरू किया तो जवाब में कुछ उत्पाती छात्रों ने पत्थरबाजी भी शुरू कर दी, जिससे मामला बिगड़ गया और आधा दर्जन युवकों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया.

Tuesday 12 December 2017

Delhi के सरकारी अस्पतालों से खुश मरीज, कहा- बंद हो जाएं Max अस्पताल, फर्क नहीं पड़ता

सरकारी अस्पतालों से खुश मरीज, कहा- बंद हो जाएं निजी अस्पताल, फर्क नहीं पड़ता

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Delhi News Dated 12/12/17 
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केजरीवाल सरकार द्वारा मैक्स अस्पताल का लाइसेंस रद्द करने के बाद दिल्ली में अस्पतालों पर राजनीति गर्म हो गई है. जहां एक ओर बीजेपी केजरीवाल सरकार के इस कदम को गलत साबित करने में जुटी है, वहीं दूसरी ओर मैक्स अस्पताल में इलाज करा रहे मरीजों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया है.
आजतक की टीम ने मरीजों से की बात
शालीमार बाग के मैक्स अस्पताल में इलाज करा रहे मरीजों का कहना है कि इस अस्पताल के बंद हो जाने के बाद उनके पास अच्छे अस्पतालों का विकल्प कम हो गया. दरअसल, मरीजों का दावा है कि उस क्षेत्र में मौजूद सरकारी अस्पतालों में अच्छा इलाज नहीं मिल पाता. ऐसे में उनके पास मैक्स ही एक ऐसा विकल्प बचा था, जहां वो अपना इलाज करा सकते थे.  
रोहिणी के अम्बेडकर अस्पताल का हाल
इसी मुद्दे को लेकर टीम ने उस इलाके के सरकारी अस्पतालों का मुआयना किया.  सबसे पहले हमारी टीम पहुंची रोहिणी के डॉक्टर अम्बेडकर अस्पताल में. यह बहुत पुराना अस्पताल है. रोजाना यहां हजारों लोग इलाज कराने आते हैं.   टीम ने यहां इलाज करा रहे मरीजों से यह जानने की कोश‍िश की कि वो इस अस्पताल के बारे में क्या सोचते हैं.
लोगों का कहना था कि हम बहुत खुश हैं सरकारी अस्पताल के इलाज से. मयंक का कहना था कि उसकी पत्नी का इलाज यहीं चल रहा है. उनकी पत्नी की डिलीवरी यही हुई है. मगर उन्हें कोई दिक्कत नहीं हुई. जब हमने पूछा कि अगर मैक्स अस्पताल बंद होता है तो उन्हें क्या दिक्कत होगी?
इस सवाल पर उनका कहना था कि अगर मैक्स अस्पताल बंद होता है तो उन्हें कोई परेशानी नहीं होगी और ना ही उन्हें इस बात से कोई फर्क पड़ता है. सरकारी अस्पतालों में दवाएं समय पर मिलती हैं और आज कल साफ सफाई का भी खास ख्याल रखा जा रहा है. डॉक्टर का व्यवहार भी बहुत अच्छा रहता है.   निजी अस्पताल में तो लूट मची हुई है. जरा सी दिक्कत पर सीधा ऑपरेशन ही होता है. अगर मैक्स बंद होता है तो हमें तो कोई फर्क नहीं पड़ता.  
मंगोलपुरी में संजय गांधी अस्पताल से भी लोग खुश
इसके बाद हमारी टीम पहुंची मंगोलपुरी के संजय गांधी अस्पताल में. यह भी एक बड़ा सरकारी अस्पताल है, जहां रोजाना ही हजारों मरीज इलाज के लिए आते हैं. यहां के मरीजों से भी आजतक की टीम ने बात की. लोगों का कहना था कि हमें यहां अच्छा इलाज मिलता है. ना इलाज पर खर्च और ना ही दवाओं पर ज्यादा खर्च होता है. निजी अस्पतालों का खर्च उठाना आम लोगों के बस की बात नहीं है. मैक्स अस्पताल बंद हो जाए, हमें उससे कोई फर्क नहीं पड़ता और ना ही इस बात से कोई परेशानी है. अपनी पूरी जिंदगी संजय गांधी अस्पताल से इलाज कराने वाली एक वृद्ध महिला ने कहा कि मैंने ताउम्र इसी अस्पताल से इलाज कराया. निजी अस्पताल में इलाज कराती तो शायद घर बिक चुका होता.
मैक्स के बाहर मरीज आज भी परेशान
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जब से मैक्स पर बैन लगाया गया है, उसके बाद से ही यहां महीनों से इलाज करा रहे मरीज काफी परेशान हो रहे हैं. आज भी कुछ ऐसे मरीज मिले, जिन्हें ऑपरेशन के लिए या चेकअप के लिए आज की डेट दी गई थी. लेकिन उनका इलाज नहीं हो रहा है. मरीजों ने कहा 'हमें मना कर दिया. अस्पताल का कहना है कि ओपीडी बंद कर दी गई है.'

Sunday 10 December 2017

मेडिकल एसोसिएशन ने दी धमकी, जनता दे रही है केजरीवाल का साथ

दिल्ली मेडिकल एसोसिएशन ने दी धमकी, जनता दे रही है CM केजरीवाल का साथ 
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दिल्ली News Dated 10/12/17
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दिल्ली मेडिकल आयोग ने धमकी दी है कि अगर दिल्ली सरकार ने मैक्स अस्पताल के लाइसेंस रद्द के फैसले को वापस नही लिया तो दिल्ली में स्वास्थ्य सेवाएँ ठप्प कर देंगे |

लेकिन इनके एलान के बाद सोशल मीडिया - ट्विटर, फेसबुक के माध्यम से दिल्ली की जनता ने मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल और दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सतेन्द्र जैन का धन्यवाद दिया और उनका साथ दिया |
''दिल्ली की जनता का कहना है कि पहली बार देश में कोई ऐसी सरकार आई है जिसने हिम्मत दिखाई और इतने बड़े अस्पताल का लाइसेंस लापरवाही करने के कारण रद्द कर दिया''

देश भर से मिल रही है CM केजरीवाल को बधाई और देश-दिल्ली की जनता उनके इस हिम्मत भरे फैसले की तारीफ़ कर रही है |



मध्यप्रदेश के डॉक्टर और WHISTLE BLOWER आनंद ने भी केजरीवाल की तारीफ़ की -


IMA का Max Hospital से क्या TieUp है,IMA एक डॉक्टर्स का सङ्गठन है और ये कॉर्पोरेट हॉस्पिटल सबसे ज्यादा शोषण डॉक्टर्स का ही करते हैं, जव युवा चिकित्सको को कम वेतन पर ये अस्पताल काम पर जोत रहे होते हैं तब IMA खामोश रहता है IMA MCI एक ही सिक्के के दो पहलू हैं।




वहीं मनोज तिवारी दे रहे है अस्पताल का साथ -

मनोज तिवारी जी को मैं समझ सकता हूँ जब उनके आदर्श नेता योगी जी गोरखपुर अस्पताल में ६० से ज़्यादा बच्चों की मौत पर कड़े क़दम नहीं उठा पाये तो तिवारी जी तो मैक्स के साथ ही खड़े होंगे, पीड़ित परिवार के साथ नहीं ।
- आप नेता आशुतोष का ट्विट 
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आयोग का सन्देश :-




Thursday 7 December 2017

शराब माफिया की पोल खोलने वाली महिला को नंगा करके घुमाया, दिल्ली पुलिस नाकाम

Delhi पुलिस सुरक्षा देने में पूरी तरह से नाकाम रही |

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Delhi News Dated 07/12/17 
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नरेला की महिलाएं DCW अध्यक्ष . को एक घर में ले गई जहां पर खुलेआम दारू बेची जा रही थी स्वाति ने तुरंत मौके पर पुलिस को बुला कर उचित कार्यवाही करने का निर्देश दिया चौंकाने वाली बात यह थी कि इस घर से 10 कदम की दूरी पर पुलिस का मालखाना था।

कल जिस महिला की मदद से दिल्ली महिला आयोग ने घर में दारु बेच रही महिला को पकड़ा था आज इसके ऊपर गुंडों ने हमला किया और बुरी तरह से जख्मी कर दिया। पुलिस सुरक्षा देने में पूरी तरह से नाकाम रही |

"उन्होंने धमकी दी कि जो हश्र मेरा किया, वही दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष का भी करेंगे। स्वाति जी का पता लेके गए हैं, धमकी दी है कि उन्हें भी सड़क पे लाके नंगा करेंगे" - DCW की वालंटियर के शब्द जिसको आज शराब माफिया ने नंगा करके पूरे इलाके में घुमाया है। शर्मनाक।

UPDATES-

CM urge to immediately intervene. Also, DCW chief summons DCP, Rohini District over sale of illicit liquor from homes in Narela area & attack on the woman volunteer by persons selling liquor.

Breaking News CM urge to immediately intervene. Also, DCW chief summons DCP, Rohini District over sale of illicit liquor from homes in Narela area & attack on the woman volunteer by persons selling liquor


Videos- https://twitter.com/Amitjanhit/status/938750273891090432

https://twitter.com/Amitjanhit/status/938750273891090432

Saturday 2 December 2017

Facts के जरिए जानिए हकीकत, EVM-BJP ने उत्तर प्रदेश के निकाय चुनावों में विपक्ष का सूपड़ा साफ कर दिया है?

क्या वाकई BJP ने उत्तर प्रदेश के निकाय चुनावों में विपक्ष का सूपड़ा साफ कर दिया है? आंकड़ों के जरिए जानिए हकीकत

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U.P News Dated 02/12/17
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उत्तर प्रदेश के गत विधानसभा चुनाव की तरह नगर निकाय चुनावों में भी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने जोरदार जीत हासिल की है। नगर निगम (महापौर), नगर पालिका परिषद और नगर पंचायतों में बीजेपी को रिकॉर्ड सफलता मिली है। विधानसभा चुनाव के आठ माह बाद हुए प्रदेश के निकाय चुनाव में 16 नगर निगमों में बीजेपी ने 14 पर कब्जा जमाया है। बता दें कि प्रदेश के 16 नगर निगमों, 198 नगर पालिकाओं और 438 नगर पंचायतों के लिये तीन चरणों में गत 22, 26 और 29 नवंबर को कुल करीब 52.5 प्रतिशत मतदान हुआ था।


नगर निगमों के अलावा नगर पालिका और नगर पंचायतों में भी बीजेपी की ही बढ़त है। हालांकि गोरखपुर के वॉर्ड नंबर 68 से बीजेपी उम्‍मीदवार माया त्रिपाठी चुनाव हार गई हैं। यहां से निर्दलीय उम्‍मीदवार नादिर ने जीत दर्ज की है। बता दें कि इसी वॉर्ड में प्रसिद्ध गोरखनाथ मंदिर स्थित है। इस चुनाव में बीजेपी के बाद सर्वाधिक सीटें समाजवादी पार्टी (सपा) ने हासिल की है। जबकि तीसरे नंबर पर बहुजन समाज पार्टी (बसपा) है। सबसे पीछे रही कांग्रेस अपने उपाध्यक्ष राहुल गांधी के गढ़ अमेठी में भी पिट गई।


बीएसपी ने इस चुनाव में अपने प्रदर्शन से सबको चौंका दिया है। बीएसपी ने अलीगढ़ और मेरठ मेयर सीट पर शानदार जीत दर्ज कर यूपी में मायावती ने अपनी वापसी के संकेत दे दिए हैं। इस चुनाव में सबसे बड़ा झटका एसपी और कांग्रेस को लगा है। नगर निगम की सीटों पर सपा और कांग्रेस का खाता भी नहीं खुल पाया है। गौरतलब है कि पहली बार नगरीय निकाय चुनाव में सभी पार्टियों ने अपने चुनाव चिन्ह पर चुनाव लड़ा है।
क्या विपक्ष के सूपड़ा साफ होने का भ्रम फैला रही है मीडिया? 
क्या मीडिया द्वारा यह भ्रम फैलाया जा रहा है कि निकाय चुनावों में विपक्ष का सूपड़ा साफ हो गया है? क्योंकि हकीकत यह है कि नगर निगमों में तो विपक्ष का सूपड़ा साफ हो गया है, लेकिन आंकड़ों पर नजर डाले तो नगर पालिकाओं व नगर पंचायतों में विपक्ष ने अपनी जोरदार उपस्थिति दर्ज कराई है। इसलिए मीडिया द्वारा विपक्ष के सूपड़ा साफ होने का ढोल बजाना गले से नीचे नहीं उतर रहा है।
16 निगमों, 198 नगर पालिका परिषदों और 438 नगर पंचायतों में चुनाव हुए हैं। अगर तीनों निकायों के परिणामों को एक साथ मिलाकर देखें तो बीजेपी 184, सपा 128, बसपा 76 और निर्दलीय सहित अन्य विजयी उम्मीदवारों की संख्या 238 है। इन आंकड़ों से साफ तौर पर पता चलता है कि विपक्ष ने इस चुनाव में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई है जिसे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता।
निकाय चुनाव में 16 नगर निगमों में बीजेपी ने 14 पर कब्जा जमाया है। सपा-बसपा किसी निगम में नहीं जीती। लेकिन नगर पालिका परिषद के घोषित अध्यक्ष पद के 198 नजीतों में बीजेपी 70, सपा 45, बसपा, 29, कांग्रेस 9 व निर्दलीय 43 स्थानों पर जीते। वहीं 438 नगर पंचायत अध्यक्षों में सर्वाधिक 182 निर्दलीय उम्मीदवारों ने बाजी मारी है।
जबकि बीजेपी के 100, सपा के 83, बसपा के 45 व कांग्रेस के 17 अध्यक्ष बने। रालोद 3, आम आदमी पार्टी (आप) और राजद के 2-2 व फॉरवर्ड ब्लॉक और एआईएमआएम का एक अध्यक्ष चुना है। दो अध्यक्ष गैर मान्यता प्राप्त दलों के चुने गए हैं। इन आंकड़ों को देखने के बाद आप खुद फैसला करें कि कहां तक यह कहना सहीं है कि विपक्ष का सफाया हो गया है?
कई उम्मीदवारों ने EVM पर उठाए सवाल
इस चुनाव में कई उम्मीदवारों द्वारा ईवीएम (इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन) की विश्वसनीयता पर भी सवाल खड़ा किया गया है। जैसे सहारनपुर से एक निर्दलीय महिला प्रत्याशी को एक भी वोट नहीं मिला। चुनाव का परिणाम आने पर प्रत्याशी ने ईवीएम पर सवाल उठाते हुए कहा कि ये कैसे संभव है मेरा वोट भी मुझे नहीं मिला। कम से कम मेरे और मेरे परिवार को वोट तो मिलना था।
सहारनपुर के वार्ड नंबर 54 से पार्षद प्रत्याशी शबाना को काउंटिंग में पता चला कि उन्हें एक भी वोट नहीं मिला है। इस पर शबाना ने ईवीएम की विश्वसनीयता पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि कम से कम मेरा और मेरे परिवार का तो वोट मुझे मिला ही है। उन्होंने कहा कि हमें उम्मीद थी कि कम से कम 900 वोट हमें मिलेगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि ईवीएम में गड़बड़ी हुई है तभी मुझे एक भी वोट नहीं मिला।
Shocking Truth is :- 

Gujarat CM रुपाणी ने BSF शहीद की बेटी को सभा से बाहर फिंकवाया

परम देशभक्त रुपाणीजी ने शहीद की बेटी को सभा से बाहर फिंकवा कर मानवता को किया शर्मसार’

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Gujrat News Dated 02/02/17
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गुजरात में एक रैली के दौरान राज्य के मुख्यमंत्री विजय रूपाणी से शहीद बीएसएफ जवान की बेटी को मिलने से महिला पुलिस कर्मियों ने रोक दिया। इतना ही नहीं सीएम रूपाणी के सामने ही शहीद बीएसएफ जवान की बेटी को पुलिसकर्मियों ने घसीटकर सभा से बाहर कर दिया। मंच के नीचे उस लड़की के साथ पुलिस ऐसे पेश आई जैसे वो कोई उपद्रवी हो। ये सब मुख्यमंत्री के सामने हो रहा था और वहां पर उन्होंने उसे रोकने के बजाय उसे शांति से बाहर ले जाने के लिए कहते दिखे।



न्यूज एजेंसी भाषा की रिपोर्ट के मुताबिक आदिवासी महिला की पहचान रूपल तडवी (26) के तौर पर हुई है। वह कई सालों से इस बात को लेकर प्रदर्शन कर रही है कि उसके पिता अशोक तडवी के शहीद होने के बाद सरकार ने जो जमीन देने का कथित रूप से वादा किया था वह आज तक पूरा नहीं किया। उसने बताया कि उसके पिता बीएसएफ में थे और शहीद हुए थे।

दरअसल, रिपोर्ट के मुताबिक रूपाणी एक रैली को संबोधित कर रहे थे। उस दौरान रूपल दर्शकों में बैठी थी और अचानक से चिल्लाते हुए मंच की ओर दौड़ पड़ी, मैं उनसे मिलना चाहती हूं…मैं उनसे मिलना चाहती हूं। इससे पहले कि वह मुख्यमंत्री के करीब जा पाती, महिला पुलिसकर्मी उसे वहां से ले गईं। रूपाणी ने मंच से कहा कि मैं आपसे इस कार्यक्रम के बाद मिलूंगा। लेकिन कोई मुलाकात नहीं हुई।

रूपल को पुलिस कर्मियों द्वारा ले जाने के दौरान बचने के लिए संघर्ष करने का वीडियो वायरल हो गया है। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने इस घटना का वीडियो ट्विटर पर शेयर किया है, जिसमें पुलिसकर्मी शहीद की बेटी को घसीटकर सभा से बाहर करते नजर आ रहे हैं।
कांग्रेस उपाध्यक्ष ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी का अहंकार अपने चरम पर है। गांधी ने हिंदी में ट्वीट करके लिखा है, ‘भाजपा का घमंड अपने चरम पर है। ‘परम देशभक्त’ रुपाणीजी ने शहीद की बेटी को सभा से बाहर फिंकवा कर मानवता को शर्मसार किया। 15 साल से परिवार को मदद नहीं मिली, खोखले वादे और दुत्कार मिली। इंसाफ़ माँग रही इस बेटी को आज अपमान भी मिला। शर्म कीजिए,न्याय दीजिए।’

गरीबों की शिकायतों पर कार्रवाई न करने पर हाईकोर्ट ने दिल्ली पुलिस को लगाई फटकार.

यह कहना खेदपूर्ण है कि आम आदमी की कोई सुनवाई नहीं है: Delhi High Court

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Delhi News Dated 02/12/17 
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नई दिल्ली: दिल्ली उच्च न्यायालय ने एक शख़्स की शिकायत पर उचित कार्रवाई नहीं करने पर पुलिस की आलोचना की है. अदालत ने कहा कि यह बेदह खेदपूर्ण है कि गरीब लोगों की शिकायतें अनसुनी रह जाती हैं. इस शख़्स ने अपनी पत्नी के लापता होने के बाद पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी.
न्यायमूर्ति विपिन सांधी और पीएस तेजी की पीठ ने दिल्ली के पुलिस आयुक्त को आदेश दिया कि संबंधित पुलिस थाने के तत्कालीन थाना प्रभारी समेत ज़िम्मेदार पुलिस अधिकारियों के ख़िलाफ़ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाए.
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पीठ गरीब लोगों द्वारा दायर की गयी शिकायतों को लेकर पुलिस के रवैये के प्रति अलोचनात्मक थी.
पीठ ने कहा, यह कहना बेहद खेदपूर्ण है कि आम आदमी की कोई सुनवाई नहीं है, और अक्सर याचिकाकर्ता जैसे गरीब लोगों द्वारा की गई शिकायतें अनसुनी रह जाती हैं.
इस मामले में याचिकाकर्ता निजी गार्ड है जो प्रतिमाह आठ से नौ हज़ार रुपये कमाता है. पीठ ने कहा, मौजूदा मामले में पुलिस ने अगर याचिकाकर्ता की शिकायत पर त्वरित कार्रवाई की होती तो स्थिति दूसरी हो सकती थी.
पीठ ने कहा, यह सीधे-सीधे पुलिस की तरफ से हुई लापरवाही है जो मौजूदा मामले में इस स्थिति के लिए ज़िम्मेदार है.
उस व्यक्ति का एक बेटा भी है जो अब पांच साल का हो गया है. पीठ ने पाया कि बेटा उस प्यार, देखभाल और ध्यान से वंचित रहा जो कि उसे उसकी मां द्वारा मिलता.
पीठ ने कहा कि सफ़दरजंग एनक्लेव पुलिस स्टेशन के तत्कालीन थाना प्रभारी पुलिस अधिकारियों को बचाने की कोशिश कर रहे थे. पीठ ने पुलिस कमिश्नर को निर्देश दिया कि वह ऐसे कदम उठाएं जिससे पुलिस बल आम लोगों की शिकायतों के प्रति ज़्यादा उत्तरदायी हो.
याचिकाकर्ता जो कि एक Private गार्ड हैं, ने अगस्त 2016 में पत्नी के लापता होने की रिपोर्ट सफ़दरजंग एनक्लेव पुलिस थाने में दर्ज करवाई थी. उन्होंने उस व्यक्ति की पूरी जानकारी, नाम और मोबाइल नंबर दिया था जिसके बारे में उन्हें लगता है कि उनकी पत्नी उस व्यक्ति के साथ कहीं चली गईं.
पीठ ने कहा कि शिकायत दर्ज करने के अलावा महिला को खोजने के लिए दिल्ली पुलिस ने कोई कदम नहीं उठाया. यह तभी हुआ जब न्यायालय ने पुलिस को कार्रवाई के निर्देश दिए और मामले की स्टेटस रिपोर्ट दाख़िल करने को कहा.
पीठ ने आगे कहा कि बाद में यह पाया गया कि लापता महिला ने अपनी इच्छा से किसी और पुरुष के साथ रहना शुरू कर दिया था और इस्लाम धर्म अपना लिया था. बाद में उन्होंने न्यायालय को बताया कि उन्होंने निकाह कर लिया है और गर्भवती भी थीं.
पीठ ने कहा, गार्ड की पत्नी ने यह भी बताया कि वह उसी पुरुष के साथ रहना चाहती हैं, जिसके साथ कुछ समय पहले वह चली गई थीं. जिसके बाद संबंधित याचिका में कोई भी आदेश देने की ज़रूरत नहीं रह गई.
बाद में याचिकाकर्ता ने कहा कि वह तलाक़ के लिए अर्जी दाख़िल करेंगे.
Source - The Wire

Kejriwal Effect: Delhi में ई-रिक्शा की बैटरी चार्ज करना हुआ सस्ता

अब Delhi में ई-रिक्शा की बैटरी चार्ज करना हुआ सस्ता
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Delhi News Dated 02/12/17
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DERC ने 2 रुपए प्रति यूनिट सस्ती की बिजली , देने होंगे 5.50 ई-रिक्शा चालको को चार्जिंग के लिए अलग केटेगरी में मिलेगा कनेक्शन

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Jammu & Kashmir विधायकों ने की दिल्ली के Govt . स्कूलों की तारीफ

J&K विधायकों ने की दिल्ली के Govt स्कूलों की तारीफ 
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Delhi News Dated 02/12/17 
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J&K विधायको ने की दिल्ली के सरकारी स्कूलों की तारीफ J&K के चार विधायको ने दिल्ली सचिवालय में मुख्यमंत्री .Arvind Kejriwal से मुलाकात की और गवर्नेंस, एजुकेशन और हेल्थ सेक्टर में हुए कामो पर चर्चा की



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